The duniyadari news .राज्यसभा चुनाव से ठीक पहले पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोप में बसपा ने सात विधायकों को निलंबित किया है। निलंबित विधायकों में जौनपुर के मुंगराबादशाहपुर सीट से निर्वाचित सुषमा पटेल भी शामिल हैं। पार्टी अध्यक्ष की ओर से कार्यवाई के बाद सुषमा पटेल ने असंतोष जताया है।
विधायक ने कहा कि उन्हें जनता ने चुना है और वह जनता की सेवा के लिए सदैव काम करती रहेंगी। किसी से मिलना-जुलना गुनाह नहीं है। उन्होंने सपा अध्यक्ष से औपचारिक मुलाकात की थी। इससे पहले भी विभिन्न दलों के लोग अलग-अलग दल के नेताओं से मिलते रहे हैं।
सामाजिक जीवन में यह स्वाभाविक प्रक्रिया है। इसे गलत नहीं माना जाना चाहिए। बसपा अध्यक्ष मायावती जी ने जो भी कार्यवाई की है, वह स्वीकार्य है। पार्टी उनकी है, लिहाजा वह ऐसा कर सकती हैं। बस मलाल इतना है कि कार्रवाई से पहले उनका पक्ष भी जानना चाहिए था। हमने कोई गलती नहीं की है। मैं पूरी तरह निर्दोष हूं।फिलहाल किसी पार्टी में भी नहीं जा रही हूं। आगे भविष्य में क्या होगा, इस पर परिस्थितियों के अनुसार निर्णय लिया जाएगा। विधायक के रूप में जनता की सेवा के लिए समर्पित भाव से काम करती रहूंगी। बता दें कि सुषमा पटेल ने बुधवार को लखनऊ में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव से भेंट की थी।इसके पहले ही बसपा के पांच अन्य विधायक भी अखिलेश से मिले थे और राज्यसभा चुनाव के लिए पार्टी नेतृत्व के फैसले पर असंतोष जताया था।