रायपुर। नाले की जमीन पर कारोबारी ने कब्जा कर उद्योग संचालित कर रहा है। नाले में कब्जा की वजह से ग्रामीणों को निस्तारी करने में परेशानी हो रही हैं। अब ग्रामीण कारोबारी के खिलाफ लामबंद होकर तहसीलदार से शिकायत कर कार्रवाई की मांग कर रहे है। शिकायत को गंभीरता से लेते हुए तहसीलदार ने जांच का आदेश दिया हैं।
बता दें कि जो जमीन सरकारी है वो हमारी है तर्ज पर चल रहे जमीन कब्जा को लेकर अब स्थानीय ग्रामीण लामबंद हो रहे है।धरसीवा तहसील के ग्राम बेंद्री में संचालित एक फैक्ट्री के संचालक द्वारा 0.081 हेक्टेयर शासकीय भूमि पर निर्माण कर उपयोग करने का मामला सामने आया है जबकि शासकीय दस्तावेज में उक्त जमीन सॉरी नाला के नाम से दर्ज है इससे इलाके के लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है क्योंकि नाले में कब्जा होने से निस्तारित पानी इलाके से बाहर नहीं निकल पा रहा है इसकी शिकायत लोगों ने तहसीलदार से किया है। तहसीलदार ने आर आई को मामले की जांच करने और रिपोर्ट सबमिट करने का निर्देश दिया है। स्थानीय लोगों ने कारोबारी और अफसरों को मिलीभगत का आरोप लगाया है ।ग्रामीणों का कहना है कि लंबे अरसे से शिकायत के बावजूद सख्त कार्रवाई नहीं हो पा रही है पूर्व में कारोबारी ने नाले के एक किनारे को अपने कब्जे में लिया था। शिकायत के बाद कार्यवाही नहीं हुई तो दूसरे हिस्से को अपने कब्जे में भी ले लिया। विभागीय अधिकारी शिकायत करने पर जांच करने की बात कहते हैं लेकिन मामला फिर से ठंडे बस्ते में अटक जाता है। सरकारी जमीन पर कब्जे का खेल पुराना बेंद्री इलाके में शासकीय जमीन पर कब्जा होने का पहला मामला नहीं है इससे पहले भी कई शासकीय जमीनों पर कब्जा हुआ है जिम्मेदारी अधिकारी ठोस कार्यवाही नहीं करते जिस वजह से कब्जा ज्यादा कब्जा धारी जमीन को अपनी संपत्ति बताते हुए मुआवजे की मांग करने लगते हैं स्थानीय लोगों की शिकायत पर जिम्मेदार अधिकारियों ने जल्द से जल्द जांच कराने और कार्य व कारोबारी को नोटिस देकर मामले में जवाब तलब करने का आश्वासन दिया है।