नवा रायपुर में परिवहन क्रांति: ई-बसें चलाने के लिए टेंडर जारी, हरित और स्वच्छ परिवहन की दिशा में बढ़ाया कदम

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The Duniyadari: रायपुर- नवा रायपुर में अब जल्द इलेक्ट्रिक बसें दौड़ती नजर आएंगी। नवा रायपुर विकास प्राधिकरण (एनआरडीए) ने आम लोगों की सुविधा के लिए ई-बसें चलाने का निर्णय लिया है।एनआरडीए ने ग्रास कास्ट कांट्रेक्ट मॉडल (जीसीसी) पर 40 ई- बसों का टेंडर जारी कर दिया है। जीसीसी मॉडल के अंतर्गत ई-बसें और चार्जिंग प्वाइंट बस मालिक की रहेगी।

एनआरडीए प्रति किलोमीटर के हिसाब से कॉन्ट्रेक्टर को पेमेंट करेगा। बस टूटने, फूटने चार्जिंग प्वाइंट बनाने की जिम्मेदारी कॉन्ट्रेक्टर की होगी। एनआरडीए इसे नवा रायपुर के अलावा माना, अभनपुर और रायपुर स्टेशन तक चलाने की योजना बनायी है। एनआरडीए अफसरों के मुताबिक इलेक्ट्रिक बस चलाने के लिए निविदा निकाली गई है।

निविदा प्रक्रिया पूरी होने के बाद कॉन्ट्रेक्टर को तीन महीने के भीतर बसें उपलब्ध करानी पड़ेगी।नवा रायपुर के सेक्टर इलाके और रायपुर स्टेशन, पचपेड़ी नाका, कमल विहार जैसी जगहों पर अभी बीआरटीएस की 30 बसें संचालित हो रही हैं।

इन बसों अनुबंध समाप्तहोने वाला है। इसलिए एनआरडीए ने अब इन बसों की जगह पर 40 ई-बस का टेंडर जारी किया है। नवा रायपुर से रायपुर स्टेशन ई-बसों का किराया प्रारंभिक तौर पर 30 रुपए निर्धारित किया गया है।

10 साल के लिए होगा टेंडर :

नवा रायपुर में ई-बस चलाने वाली कंपनी को 10 साल का टेंडर दिया जाएगा। इसके साथ ही कॉन्ट्रेक्टर ही जरूरत के हिसाब से चार्जिंग स्टेशन बनाएगा। एनआरडीए ठेका एजेंसी को जमीन और बिजली की व्यवस्था उपलब्ध कराएगी। बिजली बिल ठेका एजेंसी को ही अदा करना पड़ेगा। अफसरों की माने तो ई-बसों का संचालन सबसे ज्यादा सेक्टर इलाके में किया जाएगा। इससे एक सेक्टर से दूसरे सेक्टर में आना-जाना आसान होगा। एनआरडीए के अधिकारियों ने बताया कि ई-बस चलाने के लिए जीसीसी मॉडल पर निविदा निकाली गई है। टेंडर प्रक्रिया पूरी होने के बाद नवा रायपुर में ई-बसों का संचालन होगा। इससे प्रदूषण पर अंकुश लगेगा।