बालको प्रबंधन द्वारा अवैध निर्माण, न्यायालयीय आदेशों की अवमानना एवं 400+ वृक्षों पर खतरा— प्रशासनिक निष्क्रियता पर गंभीर सवाल

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The Duniyadari :कोरबा 8 दिसम्बर. पूर्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल द्वारा कलेक्टर कोरबा के माध्यम से की गई शिकायत में बालको प्रबंधन के निर्माणाधीन प्रोजेक्ट G+9 नवीन बालको टाउनशिप में व्यापक अनियमितताओं, अवैध निर्माण, पर्यावरणीय नियमों के उल्लंघन तथा विभागीय अनुमति के बिना कार्य प्रारंभ करने जैसे गंभीर आरोप शामिल हैं।
वनमंडल कोरबा ने जारी किया था स्पष्ट रोक आदेश, फिर भी निर्माण जारी
वनमंडलाधिकारी कार्यालय, कोरबा ने जांच उपरांत बालको प्रबंधन व उसके सब-कॉन्ट्रैक्टर आलुवालिया कंपनी को निर्देश दिया था कि— “शिकायत के निराकरण तक प्रोजेक्ट G+9 में किसी प्रकार का निर्माण कार्य न किया जाए।”
इसके बावजूद, स्थल पर निर्माण कार्य बाधारहित जारी है, जो विभागीय आदेशों की खुली अवहेलना का स्पष्ट उदाहरण है।
मशीनरी जप्ति व अधिकारी निलंबन में शून्य कार्रवाई
हालाँकि नोटिस जारी किया गया, लेकिन—
• निर्माण स्थल की मशीनरी जप्त नहीं की गई,
• जिम्मेदार विभागीय अधिकारी निलंबित नहीं किए गए,
• जबकि वास्तविक जिम्मेदारी नियोक्ता संस्था BALCO की है, जिस पर अब तक कोई प्रभावी कार्रवाई नहीं हुई।
स्कूल परिसर के पास भारी निर्माण— बच्चों की सुरक्षा जोखिम में
निर्माण स्थल से लगे पुराने बालसदन स्कूल में छोटे बच्चे प्रतिदिन अध्ययन कर रहे हैं। भारी मशीनरी, वाहनों और निर्माण सामग्री के बीच बच्चों की जान को गंभीर खतरा है, लेकिन संबंधित विभाग और प्रशासन अब तक मौन हैं।A
भूमिपूजन दो बार, अनुमति शून्य— प्रक्रिया पर गंभीर प्रश्नचिह्न
• पहला भूमिपूजन 14 फरवरी 2022 को तत्कालीन CEO द्वारा किया गया था, पर भूमि एवं पर्यावरण अनुमति विवादों के कारण कार्य प्रारंभ नहीं हो सका।
• आश्चर्यजनक रूप से, 17 नवंबर 2025 को पुनः भूमिपूजन आयोजित किया गया, जबकि—
o विभागीय अनुमति लंबित थी,
o वृक्ष स्थानांतरण पर न्यायालय की रोक लागू थी,
o भूमि विवाद का समाधान नहीं हुआ था।
400+ विशालकाय वृक्षों पर खतरा — पर्यावरणीय अपराध के संकेत
प्रोजेक्ट क्षेत्र में बरगद, पीपल, साल/सरई, आम, जामुन, कटहल, अमरूद, गंगा इमली सहित 400 से अधिक पुरातन वृक्ष मौजूद हैं।
न्यायालय द्वारा स्थानांतरण अनुमति निरस्त होने के बावजूद बालको प्रबंधन द्वारा कथित रूप से किए जा रहे प्रयास पर्यावरण संरक्षण कानूनों का गंभीर उल्लंघन है।
स्थानीय अधिकारियों पर “मैनेजमेंट” के आरोप— जनता में आक्रोश
स्थानीय नागरिकों ने आरोप लगाया है कि बालको प्रबंधन द्वारा फर्जी दस्तावेजों के आधार पर विभागों को भ्रमित किया गया तथा कुछ अधिकारियों को “मैनेज” कर लिया गया है।
यह आरोप अत्यंत गंभीर है और उच्च-स्तरीय जांच की मांग करता है।
उक्त परियोजना के लिए बिना वैधानिक अनुमतियाँ प्राप्त किये बालको प्रबंधन ने दिनांक 17 नवम्बर 2025 को दोबारा भूमिपूजन कराया जबकि प्रोजेक्ट पर रोक आदेश लागू था, ऐसे में यह कार्यक्रम स्वयं कानूनी प्रक्रिया पर प्रश्नचिह्न उत्पन्न करता है।
तत्काल कार्रवाई की मांग
सामाजिक संगठनों, स्थानीय नागरिकों व जनप्रतिनिधियों ने निम्न मांगें उठाई हैं—
1. प्रोजेक्ट G+9 पर तत्काल पूर्ण रोक लागू की जाए।
2. निर्माण स्थल की मशीनरी व उपकरण जप्त किए जाएं।
3. दोषी विभागीय अधिकारियों को निलंबित कर जांच कराई जाए।
4. बालको प्रबंधन पर पर्यावरणीय एवं कानूनी कार्रवाई की जाए।
5. सभी 400+ वृक्षों की सुरक्षा व संरक्षण सुनिश्चित किया जाए।
6. संपूर्ण प्रकरण की उच्चस्तरीय जांच कर जिम्मेदारों पर कठोर कार्रवाई की जाए।
सार संक्षेप
बालको प्रबंधन द्वारा न्यायालयीय आदेशों, पर्यावरण कानूनों और प्रशासनिक प्रक्रियाओं की लगातार अवमानना ने कानून-व्यवस्था, पर्यावरण और जनसुरक्षा तीनों के लिए खतरा उत्पन्न कर दिया है। अब आवश्यक है कि शासन-प्रशासन त्वरित हस्तक्षेप कर स्थिति को नियंत्रण में लाए और दोषियों पर कठोर कार्रवाई सुनिश्चित करे।
सुरेश कुमार अग्रवाल
कार्यालय महामंत्री
कोरबा जिला कोंग्रेस कार्यालय