राहुल गांधी का प्रहार – बोले, “वोट के लिए कुछ भी कर सकते हैं मोदी, बिहार अब बदलाव चाहता है”

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The Duniyadari : दरभंगा/मुजफ्फरपुर: बिहार के चुनावी माहौल में कांग्रेस के नेता राहुल गांधी ने बुधवार को दो विशाल जनसभाओं को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तीखे हमले किए। उन्होंने कहा कि “मोदी जी वोट के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं, यहां तक कि मंच पर नाचने से भी नहीं हिचकेंगे।”

दरभंगा की सभा में राहुल गांधी ने हाल ही में चर्चा में आए “ऑपरेशन सिंदूर” मुद्दे पर प्रधानमंत्री पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, “ट्रंप ने खुद कहा कि उसने मोदी को फोन कर ऑपरेशन रुकवाया, लेकिन मोदी जी चुप रहे। क्या ऐसा व्यक्ति देश का नेतृत्व कर सकता है? इंदिरा गांधी होतीं तो अमेरिका को उसी वक्त जवाब दे देतीं।”

राहुल ने मोदी पर “ड्रामा पॉलिटिक्स” करने का आरोप लगाते हुए कहा कि “यमुना का पानी इतना गंदा है कि कोई उसमें उतरे तो बीमार हो जाएगा, लेकिन मोदी जी ने मीडिया के कैमरों के सामने स्वच्छ पानी मंगवाकर स्नान का नाटक किया।”

मुजफ्फरपुर की सभा में उन्होंने बेरोजगारी, पलायन और विकास की कमी पर केंद्र और राज्य सरकार को घेरा। राहुल बोले — “दिल्ली, बेंगलुरु और दुबई बिहार के युवाओं की मेहनत से खड़े हैं, लेकिन बिहार खुद पीछे क्यों रह गया? यहां के नौजवान दूसरे राज्यों को चमका रहे हैं, अब वक्त है कि बिहार को चमकाया जाए।”

उन्होंने नीतीश कुमार को “रिमोट कंट्रोल सीएम” बताते हुए कहा कि “नीतीश जी अब खुद फैसले नहीं ले रहे, दिल्ली से रिमोट चलता है और बीजेपी के इशारे पर काम होता है।”

राहुल गांधी ने पांच प्रमुख मुद्दों पर सरकार को घेरा —

1️⃣ वोट के लिए नाटक: मोदी को सिर्फ चुनाव की चिंता है, जनता की नहीं।

2️⃣ नीतीश की सेहत और नियंत्रण: बिहार का शासन अब बीजेपी के हाथों में है।

3️⃣ बेरोजगारी और पलायन: बिहार के युवाओं को अपने ही राज्य में काम मिलना चाहिए।

4️⃣ अडाणी को लाभ: किसानों की जमीनें छीनकर उद्योगपतियों को दी जा रही हैं।

5️⃣ SIR और वोट चोरी का मुद्दा: केंद्र सरकार लोकतंत्र को कमजोर कर रही है।

सभा में मंच साझा करते हुए तेजस्वी यादव ने भी नीतीश सरकार पर तीखा प्रहार किया। उन्होंने कहा — “बीस साल पुरानी सरकार को अब बदलना ही होगा। बिहार को नया बीज चाहिए — विकास का, रोजगार का और उम्मीद का।”

तेजस्वी ने युवाओं से अपील की कि वे “बेरोजगारी और पलायन की राजनीति” खत्म करने के लिए नए नेतृत्व को मौका दें। उन्होंने कहा, “पिछली बार हमारी जीत को गिनती में हराया गया, इस बार ऐसा नहीं होने देंगे। बिहार बदलेगा, और इस बार सच में बदलेगा।”