थाना एरिया की तरह बंटा रेत तस्करों का..
अब तक आपने थाना चौकियों का एरिया (सीमा) सुना और देखा होगा। लेकिन, ऊर्जानगर के ऊर्जावान रेत तस्करों ने भी अपना अपना एरिया बनाकर लकीर खींच ली है। एरिया वाइज सिंडिकेट तस्कर दूसरे के एरिया से यानी नदी से रेत उत्खनन नहीं कर सकता। उनके काम करने के तरीके से अजय देवगन के मूवी का संवाद याद आता है ” चौकियां चाहे पुलिस की हो…पर यहां के कमिश्नर तो हम ही है।
वैसे कहा गया है अवैध काम करने वालों के वचन का मोल अनमोल होता है। सो मौखिक रूप से बंटे एरिया के दायरे में रहकर काम करते हुए वे एक दूसरे के एरिया में दखल नहीं देते। हां यह भी है कि सिंडिकेट के किसी गाड़ी ट्रैक्टर पर कार्रवाई होती है तो उसे छुड़ाने गिरोह के सभी सदस्य आपस मे रकम कॉन्ट्रिब्यूट कर जुर्माना भरते हैं।
खबरीलाल की माने तो बरमपुर के रेत तस्करी की जिम्मेदारी पार्षद पुत्र और का… को मिला है और राताखार रेत घाट से रेत निकालने और खपाने का काम दीप..सो.. और उनके साथियों को मिला है। अब अगर सीतामणी रेत घाट की करें तो यहां भी एक से बढ़कर एक तुर्रमखां सिंडिकेट बनाकर रेत से तेल निकाल रहे हैं।
काम करने का तरीका बदला पर तेवर वही