नए कानून के तहत छत्तीसगढ़ की पहली FIR कबीरधाम के रेंगाखार थाना में दर्ज, आज से लागू हुए

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कवर्धा: 1 जुलाई से भारत में 3 नए कानून लागू हो गए हैं. नए कानून लागू होते ही आम लोगों को इसका फायदा भी मिलने लगा है. छत्तीसगढ़ की पहली एफआईआर कवर्धा जिले के नक्सल प्रभावित क्षेत्र रेंगाखार थाना में रात 12 बजकर 30 मिनट पर दर्ज हुई. जिसे रेंगाखार के रहने वाले एक युवक ने दर्ज करवाई.

छत्तीसगढ़ की पहली एफआईआर: रेंगाखार निवासी इतवारी पंचेश्वर मोहनटाला का रहने वाला है. रेंगाखार में ट्रैक्टर मोटर्स शोरूम में सेल्स मैन का काम करता है. इतवारी ने बताया कि रविवार रात 12 बजे शोरूम से निकलते समय आरोपी गोलू ठाकरे ने उसे ट्रैक्टर के कागजात को लेकर गाली गलौज और मारपीट की. जिसकी शिकायत तुरंत रात 12 बजे ही पीड़ित ने रेंगाखार थाने में फोन कर कराई. शिकायत दर्ज होने के तुरंत बाद रेंगाखार पुलिस कुछ ही मिनटों के अंदर मौके पर पहुंची और साढ़े 12 बजे तक मामले की एफआईआर दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार किया.

कवर्धा एसपी अभिषेक पल्लव से जानिए क्या है नए आपराधिक कानून: एसपी अभिषेक पल्लव ने बताया ” 1 जुलाई 2024 से देश में क्रिमिनल लॉ, भारतीय न्याय संहिता BNS, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता BNSS और भारतीय साक्ष्य अधिनियम BSA लागू हुआ. कबीरधाम जिले के नक्सल प्रभावित क्षेत्र रेंगाखार थाने में रात 12 बजकर 5 मिनट पर सेल्स मैन के साथ ट्रैक्टर के कागजात को लेकर लड़ाई झगड़ा और धमकी दी जा रही है. नए कानून के तहत फोन पर सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और रात साढ़े 12 बजे तक आरोपी के खिलाफ धारा 296,351,(2) के तहत एफआईआर दर्ज की गई. संभवत: देश का पहला एफआईआर नए कानून के तहत किया गया.”

नए कानून के अंतर्गत फोन, वॉटसएप या ईएफआईआर की जा सकती है. जीरो एफआईआर या ई एफआईआर की जा सकती है. नए कानून के अंतर्गत ऑडियो वीडियो ग्राफी भी की जाती है. जिससे पार्दर्शिता आती है. दंड से न्याय की तरफ आगे बढ़ रहे हैं.

पर्व के रूप में मनाया जा रहा नया कानून: एसपी पल्लव ने आगे बताया-“ नए कानून के लागू होने के उपलक्ष्य में कवर्धा जिले के सभी थानों में कार्यक्रम आयोजित किए गए है. लोगों को नए कानून की जानकारी दी जा रही है. इसके अलावा यदि किसी व्यक्ति को इस कानून की जानकारी लेनी है तो संबंधित थाना में या एसपी कार्यालय से भी नए कानूनों की जानकारी ले सकते हैं. :

नए कानून का उद्देश्य: भारत के नए कानून भारतीय न्याय संहिता BNS, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (BNSS) और भारतीय साक्ष्य अधिनियम (BSA) लागू हो गया है. इन तीन नए कानून का उद्देश्य देश की न्यायिक प्रणाली को ज्यादा आधुनिक और प्रभावशाली बनाना है. इसके साथ ही न्यायिक प्रक्रियाओं में तेजी और पारदर्शिता लाकर देश के हर निवासी को त्वरित और निष्पक्ष न्याय देना है.