The Duniyadari: नई दिल्ली: जीएसटी (GST) के मोर्चे पर बड़ी राहत मिल सकती है, ये हम नहीं कह रहे, बल्कि खुद वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने इस बात के संकेत दिए हैं.
मुंबई में आयोजित एक कार्यक्रम में बोलते हुए फाइनेंस मिनिस्टर ने कहा कि टैक्स स्लैब को तर्कसंगत बनाने का प्रोसेस पूरा होने के बाद जीएसटी रेट्स में और भी कमी आएगी. गौरतलब है कि जीएसटी पर 2021 में गठित मंत्रियों के समूह (GoM) निर्णय लेने के काफी करीब बताया जा रहा है. इस बीच वित्त मंत्री द्वारा दिए गए ये संकेत भी जीएसटी कटौती की उम्मीद बढ़ाने वाले हैं.
बिजनेस टुडे पर छपी रिपोर्ट में कहा गया है कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक अवार्ड्स समारोह में बोलते हुए कहा कि रेवेन्यू न्यूट्रल रेट (RNR) 2017 में 15.8% से घटकर 2023 में 11.4% हो गया है. इसमें और भी कमी आने की उम्मीद है. इस बीच Nirmala Sitharaman ने भविष्य में बड़ी कर राहत के संकेत भी दिए और कहा कि GST लागू होने के बाद से दरों में बड़ा बदलाव आया है और आगे इसे आगे भी घटाया जाएगा. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि जीएसटी को तर्कसंगत बनाने पर जीओएम ने महत्वपूर्ण प्रगति की है और जीएसटी काउंसिल (GST Council) प्रमुख बदलावों पर अंतिम निर्णय लेने के करीब है.
निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने कहा कि GoM ने उत्कृष्ट कार्य किया है, लेकिन फिर भी मैंने जीएसटी काउंसिल के सामने प्रस्तुत किए जाने से पहले उनके निष्कर्षों की पूरी तरह समीक्षा करने का कार्य अपने ऊपर ले लिया है. टैक्स स्लैब को तर्कसंगत (Rationalisation Of Tax Slab) बनाने के प्रोसेस में दरों को सुव्यवस्थित करना और उद्योग की महत्वपूर्ण चिंताओं का समाधान करना शामिल है. वित्त मंत्री ने सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में सरकारी हिस्सेदारी घटाने और ज्यादा से ज्यादा खुदरा निवेशकों (Retail Investors) की भागीदारी को प्रोत्साहित करने की सरकार की प्रतिबद्धता भी दोहराई. निर्मला सीतारमण ने नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनियों (NBFCs) और माइक्रो-क्रेडिट के मुद्दे पर बोलते हुए कहा कि कुछ कंपनियां बेहद आक्रामक तरीके से लोन दे थीं, लेकिन RBI के हस्तक्षेप से इन्हें नियंत्रित किया गया है और स्थिति में सुधार देखने को मिल रहा है.
Nirmala Sitharaman ने कार्यक्रम में कई अन्य मुद्दों पर भी खुलकर बात की. उन्होंने भारत की मजबूत इकोनॉमिक ग्रोथ पर भरोसा जताते हुए वित्त वर्ष 2021 के बाद से दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था के रूप में इसकी स्थिति पर जोर दिया. Tariff War के बीच उन्होंने भारत-अमेरिका व्यापार समझौते (India-US Trade Deal) पर कहा कि दोनों पक्ष पारस्परिक रूप से लाभकारी समझौते का लक्ष्य रखते हैं.