Korba: अब बाजरे का दोसा..होटल, रेस्टोरेंट में तैयारी के संकेत…

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कोरबा। फिलहाल तो स्थिर है लेकिन होटलऔर रेस्टोरेंटों से जैसी पूछ-परख निकल रही हैं उससे संकेत मिल रहे हैं कि यह स्थिरता बहुत दिनों तक नही रहेगी बाजरा में।

बहुत जल्द होटलों में बाजरे का दोसा, बनता और बिकता हुआ नजर आएगा क्योंकि यह क्षेत्र रुझान दिखाने लगा है। इसके अलावा घरेलू उपभोक्ताओं की भी मांग निकलने लगी है। आहार विशेषज्ञों की भी नजर में है यह मोटा अनाज। निश्चित ही यह नया बदलाव उन किसानों के लिए खुशखबरी है जो बाजरा की फसल लेते आ रहे हैं।


बदलाव की शुरुआत

हॉटल और रेस्टोरेंट पहला ऐसा क्षेत्र बनने की तैयारी में है जहां बाजरा के लिए जोरदार संभावना है। दोसा के रूप में बाजरा को यहां सबसे पहले जगह मिलेगी। इसमें पूछ-परख जिस अंदाज में शुरू की हुई है उससे साफ संकेत मिल रहें हैं कि बहुत जल्द इसे बनता और बिकता हुआ देखा जा सकेगा।

सलाह पर्ची में जगह

उच्च पोषक तत्वों के खुलासे के बाद आहार विज्ञानी अब सलाह पर्ची में बाजरा से बनी खाद्य सामग्री के सेवन की सलाह लिख रहे हैं। संख्या, फिलहाल शुरुआती दौर में भले ही कम दिखाई देती है लेकिन सेवन को लेकर जैसा रुझान दिखाई दे रहा है उससे बाजरा को नया क्षेत्र मिल रहा है।

खुश हैं किसान

अपने प्रदेश में बाजरा की खेती का रकबा बेहद कम है लेकिन जिस तरह सेवन का क्षेत्र बढ़ रहा है उससे वे किसान खुश हैं जो फसल परिवर्तन के पक्षधर हैं। दूसरी वजह यह है कि उपभोक्ता मांग का भी दायरा बढ़ रहा है। बदलाव के पहले तक केवल घरेलू उपभोक्ता ही थे। अब हॉटल और सलाह पर्ची में मिलती जगह ने नए उपभोक्ता क्षेत्र तैयार कर दिए हैं।

इसलिए प्रोत्साहन

यू एन ने 2023 को विश्व बाजरा वर्ष घोषित किया है। निरंतर अनुसंधान के बाद जो खुलासा हुआ है उसमें यह जानकारी आई है कि रिकॉर्ड दर्जनभर से अधिक पोषक होते हैं बाजरा में। उच्च फाईबर,भरपूर मेग्नीशियम और कैल्शियम तो होता ही है। इसके अलावा कैलोरी, फैट, प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, सेलेनियम और फोलेट की मात्रा अच्छी-खासी है। दिलचस्प यह कि इसमें टाइप-2 मधुमेह को नियंत्रण में रखने के गुणों के होने का भी खुलासा हुआ है।