कोरबा। रेत की जरूरत को पूरा करने में प्रशासन की टीम पूरी तरह फेल है। रेत तस्करों के बढ़ते कद से हलाकान खनिज अब नाक बचाने के प्रयास में जुटे है। माइनिंग से मिली जनकारी के मुताबिक इस वर्ष 35 नये रेत घाट का चिन्हांकन किया गया। जिसमें 12 रेत घाट के संचालन की प्रक्रियाधीन है लेकिन वैध रेत घाट से रेत उत्खनन के लिए अभी और इंतजार करना होगा क्योंकि अगले महीना यानी 9 जून को एनजीटी के आदेश मुताबिक रेत उत्खनन बंद हो जायेगा। ऐसे में रेत के लिए अभी भी तस्करों पर आम लोगो को डिपेंड रहना पड़ेगा।
बता दें कि शासकीय हो या निजी निर्माण कार्य, रेत की जरूरत कॉमन और अनिवार्य है। ऐसे में आवश्यकता के अनुरूप आपूर्ति न होने से अवैध रेत तस्करों की चांदी हो गई है।हालाकि खनिज विभाग का कहना है कि इस वर्ष जिले में 35 नए रेत घाट चिन्हांकित किए गए हैं। इनमें से 12 घाटों में पर्यावरणीय स्वीकृति की प्रक्रिया जारी है। अनुमति मिलने ही उत्खनन शुरू कराया जाएगा और रेत आपूर्ति बढ़ाने के साथ कीमतों में भी कमी की उम्मीद की जा सकती है। जबकि जानकारों की माने तो खनिज विभाग की लचर कार्य प्रणाली की वजह से हर महीने शासन को करोड़ो रूपये की राजस्व हानि हो रही है क्योकि समय रहते वैध रेत घाट का संचालन शुरू हो जाता तो करोड़ो की रायल्टी शासन के खाते में जमा होता लेकिन अब ऐसा नही हो सका है।
नये रेत घाट का जल्द होगा संचालन- नायक
जिला खनिज विभाग के अधिकारी प्रमोद नायक के अनुसार जिले में अवैध रेत उत्खनन, परिवहन तथा भंडारण पर नियमित रूप से कार्यवाही की जा रही है। साधारण रेत उत्खनन के लिए अनुसूचित क्षेत्र के लिए इसी वर्ष 19 जनवरी को नवीन नियम आने के पश्चात खनिज विभाग द्वारा जिले के 35 नए रेत घाटो को चिन्हांकित किया गया। इसमें से 12 रेत घाटों को घोषित कर पर्यावरणीय स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। अवैध रेत उत्खनन को रोकने के लिए खनिज विभाग द्वारा नाका लगाया गया है। अवैध रेत उत्खनन के लिए प्रयुक्त मार्गों को जगह-जगह खोदकर अवरूद्ध किया गया है। अवैध उत्खनन वाले क्षेत्रों में जाकर प्रयुक्त वाहनों को जप्ति कर निरंतर कार्यवाही की जा रही है। विगत अप्रेल माह में विभाग की ओर से कुल 34 वाहनों पर एमएमडीआर एक्ट 1957 की धारा 21 के तहत अवैध परिवहन की कार्यवाही की गई है। साथ ही जिले में विभिन्न निर्माण कार्यों के अनुरूप जरूरत के विरीत रेत की कमी तथा रेत की बढ़ती हुई कीमत को दूर करने के प्रयास भी किए जा रहे हैं। इस दिशा में कार्य करते हुए इसके लिए कुल 13 रेत भंडारण संचालित हैं। नवीन रेत खदानों की स्वीकृति के लिए खनिज विभाग द्वारा जल्दी ही कार्यवाही किया जा रहा है।