KORBA : हड़ताली महिला कर्मचारियों का अनोखा आंदोलन…तीजा मायके में न ससुराल में मैं तीजा उपवास रहूँगी पंडाल में…

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कोरबा। डीए और एचआरए के लिए चल रहे आंदोलन ने अनोखा रूप ले लिया है। हड़ताल में शामिल महिला कर्मचारियों ने हाथ मे मेहंदी लगाकर तीजा हड़ताल के लिए गड़े टेंट में सामुहिक रूप से मनाकर सरकार को एक संदेश देने का प्रयास किया हैं। महिलाओं ने हाथ मे मेंहदी रचाकर संदेश दिया है।” तीजा न मायके में और न ही ससुराल में ,इस बार तीजा हड़ताल में।”

 

बता दें कि संयुक्त कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के आह्वान में चल रहे आंदोलन में अनोखा आंदोलन शुरू हो गया हैं। इस आंदोलन में कोरबा जिले की महिलाओं ने हड़ताल मंच पर तीजा मानने का निर्णय लेते हुए सरकार को संदेश दिया है। हिंदू धर्म में हरतालिका तीज को सबसे बड़ी तीज माना जाता है।

महिलाओं ने हाथ में मेहंदी लगाकर लिखा है कि सरकार की हठधर्मिता से इस बार हम न तो मायके में तीजा मना रहे है और  न ही ससुराल में ! तीजा हम मना रहे हैं हड़ताल में। गौरतलब है कि  प्रदेश में तीजा को सुहागिन औरत अपने पति के दीर्घायु के लिए निर्जला उपवास रखती हैं और ज्यादातर महिलाएं इस पारम्परिक त्यौहार को अपने मायके में मनाती है लेकिन इस वर्ष डीए और एचआरए की मांग को लेकर प्रदेश भर के कर्मचारी हड़ताल पर है। ऐसे में हड़ताली महिलाओं को मायके जाने का अवसर नहीं मिला तो उन्होने हड़ताली मंच से व्रत रखकर सरकार को संदेश देकर मांग को पूरा करने का आह्वान किया हैं।

बता दें कि भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा अर्चना से इस दिन अखंड सौभाग्य की प्राप्ति होती है। अब देखना है कि डीए और एचआरए की मांग का हड़तालियों का सपना अखण्ड होगा या खण्ड-खण्ड होकर बिखर जाएगा।